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मुगल साम्राज्य का इतिहास

मुगल साम्राज्य का इतिहास - MUGAL SAMRAJY KA ITIHAAS 

हेलो दोस्तों आज फिर हम आपके लिए एक महत्वपूर्ण जानकारी को लेकर आ रहे है इस जानकारी में हम आपको भारत का एक महत्वपूर्ण वंश की जानकारी को इस लेख में हम आपको Major Battles of the Mughal Period मुगल साम्राज्य का इतिहास - MUGAL SAMRAJY KA ITIHAAS से सम्बंधित सभी जानकारी को हम इस लेख में देखेंगे 

मुगल साम्राज्य का इतिहास

मुगल साम्राज्य के संस्थापक बाबर

बाबर का पूरा नाम जहीरूद्दीन मोहम्मद उर्फ बाबर मुगल साम्राज्य के संस्थापक और प्रथम शासक माने जाते थे इनका जन्म मध्य एशिया के वर्तमान उदय किस स्थान में हुआ था यह तैमूर और चंगेज खान के वंशज माने जाते हैं बाबर के द्वारा ही मुंबईयान नामक पद शैली का विकास भी उनके द्वारा ही किया गया था। सुल्तान बाबर ने 1519 से 1526 ईसवी तक भारत पर 5 बार आक्रमण किए और इसके बाद 1526 में इन्होंने पानीपत के मैदान में दिल्ली सल्तनत के अंतिम सुल्तान इब्राहिम लोदी को हराकर मुगल साम्राज्य की नींव रखी बाबर ने 1527 में खानवा का युद्ध लड़ा इसके बाद 1528 में चंदेरी का युद्ध लड़ा इसके बाद 1529 में घग्गर और 1530 में इसकी मृत्यु हो गई।

मुग़ल साम्राज्य 1526 से 1857 ई तक 


मुगल आक्रमण के समय भारत की राजनीतिक दशा कोई अच्छी नहीं थी बाबर ने 1526 से 1530 के बीच भारत पर आक्रमण किए यह चारों आक्रमण बाबर ने राजपूतों के खिलाफ किए थे और उनको पराजित करके बाबर वंश या मुगल वंश की स्थापना की थी। बाबर ने जब भारत पर आक्रमण किया उस समय भारत की राजनीतिक स्थिति अच्छी नहीं थी भारत के कई राज्य अलग-अलग टुकड़ों में बैठे हुए थे जिसके कारण बाबर को भारत में सत्ता स्थापित करने में ज्यादा परेशानी नहीं आई।

दिल्ली में लोधी वंश 

उस समय दिल्ली में लोधी अफ़गानों का शासन था लोदी वंश का प्रथम शासक बहलोल लोदी था उसने 38 वर्ष तक शासन किया था जब बाबर ने दिल्ली पर आक्रमण किया उस समय वहां का शासक इब्राहिम लोदी था। 

मुगल साम्राज्य की स्थापना हुई

बाबर की उत्तर भारत की विजय उसकी जिंदगी का वह मोड़ था जिसने उसके भाग्य का सितारा बुलंदियों पर पहुंचा दिया उसने चार युद्ध में विजय प्राप्त कर भारत में मुगल साम्राज्य की स्थापना की थी।

  • पानीपत का प्रथम युद्ध 1526
  • खानवा का युद्ध 1527
  • चंदेरी का युद्ध 1528
  • घाघरा का युद्ध 1529

हुमायूं का शासनकाल 1530 से 1556 तक

हुमायूं एक सज्जन व्यक्ति था परंतु एक बादशाह के रूप में वह असफल रहा । भारत में मुगल साम्राज्य के संस्थापक बाबर का बड़ा पुत्र और उत्तर अधिकारी 26 वर्षीय 1530 से 1556 तक भाग्य और बाकी हीनता के थपेड़ों के बीच लड़ा रहा वह उत्तराधिकारी में प्राप्त कठिनाइयों तथा शेरशाह जैसे प्रतिद्वंदी से वह पापा फिर भी हुमायूं और मुगल वंश के लिए यह भाग्य की बात थी कि अंत में दिल्ली और आगरा के सम्राट के रूप में वह मरा और अपने पीछे अकबर जैसे उत्तराधिकारी को छोड़ गया।

सम्राट अकबर 1556 से 1605 तक का शासन

अकबर की गणना विश्व के महानतम सम्राटों में की गई है बहादुरी और युद्ध नीति में उसकी तुलना सिकंदर और नेपोलियन से की गई है साम्राज्य विस्तार और महत्वकांक्षी के लिहाज से उसे चंद्रगुप्त मौर्य समुद्रगुप्त अलाउद्दीन खिलजी तथा मोहम्मद तुगलक की कोठी में रखा गया है शासन सुधारक के रूप में उसकी तुलना पीटर महान फ्रेडरिक महान तथा शेरशाह से की गई है और इसके साथ उदारता में उसे अशोक महान के समान बताया गया है साहित्य और कला में उसे चंद्रगुप्त विक्रमादित्य जैसा कहा गया है राजनीति में वह अपनी समकालीन एलिजाबेथ प्रथम को मार देता है और बहुमुखी रचनात्मक प्रतिभा की दृष्टि से उसे नेपोलियन और शिवाजी की कोटि में रखा गया है।

जहांगीर का शासनकाल 1605 से 1627 तक 

राजपूतों को अपने अधीन करने के साथ ही उनके प्रति उदारता और सम्मानजनक दोस्ती की जो नीति अकबर ने शुरू की थी उसे उसके पुत्र जहांगीर ने भी जारी रखा उसने भी राजपूतों के साथ वैवाहिक संबंध कायम किए उन्हें शासन और सेना में उच्च पदों पर नियुक्त किया । 

शाहजहां का शासनकाल 1628 से 1658 तक 

शाहजहां ने भी अकबर और जहांगीर की राजपूत नीति को जारी रखते हुए उनके प्रति सम्मान और मैत्री का व्यवहार रखा इस काल में आमेर के राजा जैसी है तथा मारवाड़ के राजा जसवंत सिंह ने मुगलों के लिए अनेक शानदार उपलब्धि हासिल की छोड़न जगत सिंह और राशि है ने किले की कुछ मरम्मत करवा ली थी जिसे शाहजहां ने तुड़वा दिया था

औरंगजेब का शासनकाल 1658 से 1707 तक

औरंगजेब ने सबसे विशाल और सबसे बड़े साम्राज्य पर शासन किया था उस के शासनकाल में मुगल साम्राज्य का अधिकतम विस्तार हुआ लेकिन एक विडंबना यह है कि उसने ऐसा राजत्व सिद्धांत अपनाएं की उसके नीतियां मुगल साम्राज्य के पतन का एक प्रमुख कारण बनी। औरंगजेब में वीरता कूटनीति धीरे आदि गुण बड़ी मात्रा में विद्यमान थे

मुगल वंश के शासक - मुगल राजाओं के नाम

  • बहादुर शाह 19 जून 1707 से 27 फरवरी 1712 तक 
  • बहादांर शाह  27 फरवरी 1712 से 11 फरवरी 1713
  • फारुखशियर 11 जनवरी 1713 से 28 फरवरी 1719
  • मोहम्मद शाह 27 सितंबर 1719 से 26 अप्रैल 1748 तक
  • अहमद शाह बहादुर 26 अप्रैल 1748 से 2 जून 1754 तक
  • आलमगीर द्वितीय 2 जून 1754 से 29 नवंबर 1759 तक
  • शाह आलम द्वितीय 24 दिसंबर 1707 से 19 नवंबर 1806 तक 
  • अकबर शाह द्वितीय 19 नवंबर 1806 से 28 सितंबर 1837 तक 

  • बहादुर शाह द्वितीय 1837 से 14 सितंबर अट्ठारह सौ सत्तावन तक

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